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व्यापारी को किडनैप करने वाले आरपीएफ दरोगा-सिपाही अरेस्ट


लखनऊ आगरा जिले में  आरपीएफ दरोगा और सिपाही ने व्यापारी को किडनैप किया। उसको टॉर्चर किया। थर्ड डिग्री दी। बाद में व्यापारी से कहा कि अपने घर से 4 लाख रुपए मंगवाओ। फिरौती मांगने की बात पुलिस तक पहुंची। तो आरपीएफ के दरोगा और सिपाही पकड़े गए। रेलवे ने एक्शन लेते हुए उन्हें सस्पेंड कर दिया है। इसके बाद उन्हें थर्ड डिग्री दी गई तो काजिम ने उन्हें मारना बंद कर छोड़ने के बदले पैसे देने की बात कही। इसके बाद वो लोग उन्हें राजा की मंडी स्टेशन की चौकी पर ले गए और बंद कर चले गए।काजिम ने बताया कि आरोपियों ने सुबह उसके मोबाइल से घर पर वॉट्सऐप पर कॉल करवाई। घरवालों से चार लाख की डिमांड की। शिकायत करने पर जेल भेजने की धमकी दी। कई बार बात करने के बाद अंत में दो लाख रुपए तय हो गए। डीसीपी वेस्ट  ने बताया कि मंगलवार दोपहर 1 बजे परिजनों ने अपहरण की जानकारी पुलिस को दी। एसीपी  के निर्देशन में वेस्ट की सारी टीमें लगाई गईं। अपराधी लगातार लोकेशन चेंज कर रहे थे। अंत में पुलिस ने परिजनों को कुछ रुपए दिए और बाकी पैसा देने की मोहलत मांगी। इस दौरान सादी वर्दी में पुलिस टीम ने आरोपियों की कार चिह्नित कर ली और जैसे ही परिजनों से आरोपियों ने पैसे लिए पुलिस ने उन्हें तत्काल रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। आरोपियों के पास से वारदात में प्रयुक्त दरोगा की होंडा इमेज कार और फिरौती के लिए दिए गए एक लाख 20 हजार रुपए बरामद किए गए हैं।डीसीपी  वेस्ट ने बताया कि पूछताछ में पकड़े गए युवकों के नाम पारुल, नीरज और सुरेश है। उन्होंने खुद के आरपीएफ आगरा कैंट में तैनात होने की जानकारी दी। सुरेश आरपीएफ में दरोगा है और आगरा कैंट पर तैनात है। भूरा उनका प्राइवेट ड्राइवर है जो गाड़ी चला रहा था। पुलिस पूछताछ में अपहृत युवकों का कोई आपराधिक इतिहास नहीं मिला और आरोपियों पर भी पहले कोई मुकदमा नहीं दर्ज है।इससे साफ पता चल रहा है की पैसों के लिए इस घटना को अंजाम दिया गया है। सरकारी कर्मियों द्वारा ऐसा करना बहुत गलत है और परिजनों की तहरीर पर आरोपियों के खिलाफ गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है।आगरा कैंट आरपीएफ थाने में तैनात दरोगा और सिपाहियों के जेल जाने के बाद अब आरपीएफ कमांडेंट  ने आरोपियों सहित आरपीएफ कैंट थाना प्रभारी को भी निलंबित कर दिया है। इस मामले की विभागीय जांच के भी आदेश दिए गए हैं। आरोपी प्राइवेट ड्राइवर भूरा अभी फरार है।आरपीएफ कमांडेंट ने बताया कि अपहरण की घटना में दरोगा सुरेश चौधरी और कॉन्स्टेबल नीरज की संलिप्तता को देखते हुए इन्हें निलंबित कर दिया है। इसके साथ आरपीएफ कैंट थाना प्रभारी सुरेंद्र चौधरी को भी निलंबित किया गया है। आरोपियों के खिलाफ विभागीय जांच के आदेश दिए गए हैं।इंस्पेक्टर सुरेंद्र चौधरी की आरोपियों के साथ क्या संलिप्तता थी इसकी भी जांच कराई जाएगी। 

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