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सुल्तानपुर में सड़कों पर सांड व आवारा पशुओं की भरमार,CDO की गाड़ी तक पहुंचे छुट्टा मवेशी


सुल्तानपुर जिले में शहर की सड़कों पर सांड व आवारा पशुओं का आतंक है। हर गली, मोहल्ले और चौराहे पर बड़ी संख्या में आवारा पशु देखे जा रहे। अब तो नौबत ये है कि जिले के अधिकारियों की गाड़ी के पास भी ये दिखने लगे हैं। लेकिन यहां दुर्गापूजा का पर्व आरंभ होने वाला है। ऐसे में इनका इस तरह खुलेआम घूमना बड़ी दुर्घटना के संकेत दे रहा है।

शहर में इन दिनों दुर्गा पूजा पर्व को लेकर पंडाल तैयार हो रहे हैं। चौक, ठठेरी बाजार, शाहगंज चौराहा, रुद्रनगर, गभड़िया, राहुल चौराहा आदि स्थानों पर बड़ी संख्या में पंडाल बन रहे हैं। इन पंडालों से अधिक संख्या में आवारा पशु व सांड सड़क की सड़कों पर टहल रहे हैं। ऐसे में हर किसी को डर है कि कही त्योहार के दौरान ये जानवर रंग में भंग ना पैदा करें।मंगलवार रात जिलाधिकारी कृतिका ज्योत्सना, मुख्य विकास अधिकारी अंकुर कौशिक,पुलिस अधीक्षक सोमेन बर्मा दल-बल के साथ दुर्गापूजा की तैयारियों को देखने निकले। इन अधिकारियों के साथ समिति के सदस्य भी मौजूद थे।

सबने अपनी निगाहों से शहर भर में व पंडालों के आसपास छुट्टा जानवरों को बड़ी संख्या में देखा। एक स्थान पर तो सीडीओ की गाड़ी के पास ही जानवर खड़े पाए गए। वैसे ये बदहाल स्थिति केवल शहर में ही नहीं है ग्रामीण अंचल में भी कमोबेश स्थिति ऐसी ही या इससे बदतर है। टांडा-बांदा हाइवे पर धम्मौर थाना अंतर्गत महेशरगंज की भी ऐसी ही तस्वीरें सामने आई हैं। जहां आवारा पशु बड़ी तादाद में सड़कों पर हैं। ऐसे में कब बड़ा हादसा अंजाम पा जाए ये अनहोनी बनी हुई है।लेकिन जिम्मेदार सरकारी गौशाला में इन जानवरों को कैद नहीं कर पा रहे हैं। ये आलम भी तब है जब तत्कालीन जिलाधिकारी रवीश कुमार के कार्यकाल में ही इन जानवरों को पकड़े जाने के लिए काऊ क्रैचर का फंड आया था। इस फंड से मशीने आई भी पर वो हैं कहा और उसको चलाने वाले कहां हैं उनका पता नहीं है।

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