योगी सरकार ने जांच के लिए गठित की एसआईटी
लखनऊ ।कोरोना से बेहाल उत्तर प्रदेश में कई अफ़सरों ने संकट को अवसर में बदल लिया है. ज़रूरी चीजों की खरीद के नाम पर करोड़ों का खेल हुआ. ऑक्सीमीटर और थर्मामीटर पांच गुना दाम पर खरीदे गए. कुछ ज़िलों से इस बात की शिकायत आई है. इसके बाद जब जांच हुई तो पता चला बहुत गड़बड़ है. कुछ अधिकारी सस्पेंड भी कर दिए गए हैं, लेकिन इस खेल के असली खिलाड़ियों पर कोई आंच नहीं आई. आरोप है कि ऐसे बड़े लोगों को बचाया जा रहा। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पूरे मामले की जांच के लिए एक एसआईटी बना दी है. उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री ने स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम को दस दिनों में जांच कर रिपोर्ट देने को कहा है. जांच के दायरे में कई ज़िलों के डीएम और सीनियर आईएएस अधिकारी हैं.योगी सरकार ने अपर मुख्य सचिव रेणुका कुमार को एसआईटी का चीफ बनाया है. उनकी छवि एक ईमानदार और तेज तर्रार अफसर की रही है. एसआईटी में चिकित्सा शिक्षा विभाग के सचिव अमित गुप्ता को सदस्य बनाया है. नगर विकास मंत्रालय के सचिव विकास गोठलवाल को भी इस टीम में रखा गया है. योगी ने एसआईटी को हर पहलू की जांच करने को कहा है.
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