ऑनलाइन परीक्षा में धोखाधड़ी कर दारोगा ने पाई नौकरी , विभिन्न धाराओं में केस दर्ज
लखनऊ पुलिस भर्ती की आनलाइन परीक्षा में शामिल अभ्यर्थी द्वारा चार वर्ष पूर्व धोखाधड़ी कर दारोगा की नौकरी पाए जाने का मामला प्रकाश में आया हैं। अंगूठा छाप के मिलान में पोल खुलने पर लखनऊ में आरोपित दारोगा घनश्याम जायसवाल के खिलाफ धोखाधड़ी समेत विभिन्न धाराओं के केस दर्ज किया गया है।शुक्रवार को उक्त दारोगा का केस लखनऊ से ट्रांसफर होकर मिर्जामुराद थाने में आया है। केस की विवेचना अब मिर्जामुराद पुलिस करेगी। उत्तर-प्रदेश पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड, हुसैनगंज लखनऊ द्वारा दो दिसंबर 2021 को मिर्जामुराद स्थित काशी इंस्टीट्यूट आफ टेक्नोलाजी (केआईटी) में उपनिरीक्षक नागरिक पुलिस की सीधी भर्ती के लिए आनलाइन लिखित परीक्षा आयोजित की गई थी।गोरखपुर जिले के साहबगंज, टीचर कालोनी (पीपीगंज) निवासी घनश्याम जायसवाल भी इस आनलाइन परीक्षा का अभ्यर्थी था। इसके बाद घनश्याम का चयन होने पर उसे नियमानुसार प्रशिक्षण पर भेजा गया। इस बीच उच्च न्यायालय में रिट दाखिल होने पर बोर्ड स्तर पर समिति गठित कर अंगूठा छाप के मिलान की कार्यवाही शुरू हुई। 13 अक्टूबर 2023 को अंगूठा छाप का मिलान कराया गया।इसके बाद अंगूठा चिह्न लखनऊ ब्यूरो को जांच के लिए भेजा गया। जांच में परीक्षा के समय प्राप्त मिलान से अंगूठे का मिलान नहीं हुआ। जांच में पता चला कि आनलाइन परीक्षा में घनश्याम जायसवाल प्रतिभाग ही नहीं किया था।पुलिस भर्ती बोर्ड के निरीक्षक सत्येंद्र कुमार की तहरीर पर हुसैनगंज थाना (लखनऊ) में बीते वर्ष 20 नवंबर 2024 को घनश्याम जायसवाल के खिलाफ उ. प्र. सार्वजनिक परीक्षा अधिनियम समेत अन्य मामलों में केस दर्ज किया गया। मिर्जामुराद थाना प्रभारी निरीक्षक सुधीर त्रिपाठी ने बताया कि आरोपित दारोगा का मुकदमा लखनऊ से ट्रांसफर होकर उनके थाने में आया है। जिसकी विवेचना अब खजुरी चौकी प्रभारी अनिकेत श्रीवास्तव करेंगे।
कोई टिप्पणी नहीं