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प्रदेश मे वरासत से संबधित अभियान मे 2 लाख से अधिक आवेदन


लखनऊ। उत्तर प्रदेश के अपर मुख्य सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य  अमित मोहन प्रसाद ने बताया कि प्रदेश में कल एक दिन में कुल 1,52,193 सैम्पल की जांच की गयी। प्रदेश में अब तक कुल 2,37,93,270 सैम्पल की जांच की गयी है। उन्होंने बताया कि प्रदेश में पिछले 24 घंटे में कोरोना सेे संक्रमित 1043 नये मामले आये हैं। प्रदेश में 14,155 कोरोना के एक्टिव मामले में से 6,142 लोग होम आइसोलेशन में हैं।अब तक कुल 5,62,459 लोग कोविड-19 से ठीक होकर डिस्चार्ज हो चुके हैं। प्रदेश में ई-संजीवनी के माध्यम से 24 घंटे में 4,452 लोगों ने चिकित्सीय परामर्श लिया है। अब तक 3,27,720 लोगों ने चिकित्सीय परामर्श लिया है। प्रदेश में सर्विलांस टीम के माध्यम से 1,79,410 क्षेत्रों में 4,99,048 टीम दिवस के माध्यम से 3,09,42,984 घरों के 15,05,42,727 जनसंख्या का सर्वेक्षण किया गया है। प्रसाद ने बताया कि यू0के0 से आने वाले लोगों का कोविड-19 टेस्ट कराया जा रहा है। अब तक 2500 से अधिक सैम्पल लेकर टेस्ट किया जा चुका है जिसमें से 10 लोगों की टेस्ट रिपोर्ट पाजिटिव आयी है। उन्होंने बताया कि प्रदेश में कोविड-19 के संक्रमण को नियंत्रित करने के लिए माघ मेला, प्रयागराज तथा संत समागम, मथुरा एवं अन्य मेलें में आने वाले श्रद्धालुओं को मेले में आने से 5 दिन पूर्व की आर0टी0पी0सी0आर0 टेस्ट की निगेटिव रिपोर्ट साथ लाना अनिवार्य किया गया है। मेंले में कोविड-19 प्रोटोकाॅल के संबध में शासनादेश भी जारी कर दिया गया है। उन्होंने बताया कि सभी लोग मास्क पहनें, हाथ साबुन-पानी से धोते रहें तथा लोगों से दो गज की दूरी बनाये रखें। जब तक वैक्सीन नहीं आती तब तक पहले से बीमार बुजुर्गों, बच्चों, गर्भवती महिलाओं को संक्रमण से बचाना होगा।प्रदेश के प्रमुख सचिव सूचना  संजय प्रसाद ने बताया कि प्रदेश में संक्रमित लोगों की संख्या कम होने से कन्टेनमेंट जोन की संख्या में निरन्तर गिरावट आ रही है। प्रदेश में प्रतिदिन लगातार डेढ लाख से अधिक कोविड-19 टेस्टिंग की जा रही है। उन्होंने बताया कि प्रदेश के 5,502 कन्टेनमेंट जोन के 888 थानान्तर्गत, 71,578 मकानों के 3,60,102 लोगों को चिन्हित किया गया है। इन कन्टेनमेंट जोन में कोरोना पाॅजिटिव लोगों की संख्या 10,547 है। इंस्टीट्यूशनल क्वारेंटाईन किये गये लोगों की संख्या 11,029 है। प्रदेश के लगभग 75 प्रशासनिक अधिकारी व 75 वरिष्ठ पुलिस अधिकारी जनपद में अपना दौरा सम्पन्न करने के उपरान्त अपने दौरे की रिपोर्ट  मुख्यमंत्री को सौंप दी है। इन अधिकारियो ने प्रदेश में धान, मक्का तथा गन्ना क्रय केन्द्रों, निराश्रित गौ आश्रय स्थलों, कोविड-19 वैक्सीनेशन की तैयारी तथा कोविड नियंत्रण के कार्यक्रमों की समीक्षा की है। जिसका फीड बैक  मुख्यमंत्री  के समक्ष रखा गया है। उन्होंने बताया कि धान क्रय सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता में से एक है। आज प्रदेश सरकार द्वारा अब तक 482.92 लाख कु0 धान की खरीद की जा चुकी है, जो अपने आप में एक रिकार्ड है। विगत वर्षों की तुलना में कृषकों की संख्या में भी वृद्धि हुयी है। इसी के साथ-साथ प्रदेश सरकार द्वारा अब तक 7,72,786.60 कु0 मक्का की खरीद की जा चुकी है। उन्होंने बताया कि जनपद में भेजे गये अधिकारियों द्वारा गन्ना क्रय केन्द्रों पर जाकर निरीक्षण किया गया है तथा ये देखा गया है कि सभी गन्ना केन्द्र संचालित हो रहे है। वहां पर नियमित रूप से किसानों को नियमित रूप से सूचनाएं उपलब्ध करायी जा रही हैं और मिलों द्वारा उनका गन्ना का नियमित भुगतान भी किया जा रहा है। सजंय प्रसाद ने बताया कि  मुख्यमंत्री  ने प्रदेश के सभी 67 हजार से अधिक युवक एवं महिला मंगल दलों को स्पोर्ट्स किट उपलब्ध कराया है। लोकभवन में आयोजित एक कार्यक्रम के अन्तर्गत खेल एवं टीमवर्क के महत्व पर प्रकाश डाला गया। युवाओं को राष्ट्र निर्माण में अपनी सक्रियता व सहभागिता सुनिश्चित करने हेतु आह्वाह्न किया गया है। जनपदों के युवक एवं महिला मंगल दल के सदस्यों से सीधा संवाद स्थापित किया। मुख्यमंत्री जी ने 11 युवक एवं महिला मंगल दल के सदस्यों को अपने हाथों से स्पोर्ट्स किट सौपी है। उन्होंने बताया कि आज मुख्यमंत्री  द्वारा प्रदेश में निवासित जनजाति थारू, कोल व अन्य के लिए चलाये जा रही है कल्याणकारी योजनाओं की समीक्षा की है। मा0 मुख्यमंत्री जी ने सबंधित विभागों को निर्देश दिये है कि जनजातियों के लिए विशेष प्रकार की योजनाएं संचालित है उनकों तेजी से क्रियान्वयन किया जाए तथा जहां ये जनजातियां निवास करती है उन क्षेत्रों में विकास का कार्य किया जाए। प्रसाद ने बताया कि मुख्यमंत्री  के निर्देश पर वरासत से संबधित अभियान चलाया जा रहा है। इसमें 2 लाख से अधिक आवेदन पत्र प्राप्त हुये है। इन आवदेन पत्रों का तेजी से निस्तारण कराया जा रहा है। उन्होंने बताया कि पैमाइश से संबधित अभियान को भी अन्तिम रूप दिया जा रहा है और इसे शीघ्र प्रारम्भ किया जायेगा।  मुख्यमंत्री  के निर्देश पर आरोग्य मेला जनवरी माह से प्रारम्भ किया जायेगा, जिससे कि ग्रामीण व शहरी इलाकों में रहने वाले लोगों को ज्यादा से ज्यादा स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध हो सकेंगें।

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