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पति के शव के दो हकदार,पत्नियां बोलीं- मैं लूंगी


लखनऊ झांसी में चपरासी की मौत पर उसके शव के दो  हकदार सामने आ गए। दोनों पत्नियां मेडिकल कॉलेज पहुंचीं। फिर कहने लगीं कि मैं लूंगी शव। पुलिस हैरान है कि शव दें तो किसे दें। क्योंकि दोनों ही शादी के प्रमाण भी साथ लेकर आई हैं। बहरहाल पुलिस पोस्टमार्टम करा रहीं हैं।बरुआसागर निवासी संजय बाल्मीकी (45) पुत्र जगन्नाथ गर्ल्स इंटर कॉलेज में चपरासी कम चौकीदार के पद पर कार्यरत था और स्कूल में ही रहता था। सोमवार सुबह उसका स्कूल में ही शव मिला। तब मौके पर कोई परिजन नहीं था। इसके बाद मौत की सूचना लगने पर दो महिलाएं खुद को संजय की पत्नी बताते हुए अस्पताल पहुंच गईं और शव मांगने लगीं।समथर निवासी मीरा का कहना है कि 1998 में उसकी शादी संजय से हुई थी। शादी से दो बेटी और एक बेटा हैं।। आरोप है कि संजय शराब पीकर मारपीट करता था। इसलिए करीब 2009 में वह बेटा व एक बेटी को लेकर मायके चली गई थी। वहां पर मजदूरी करके अपने बच्चों को पाल रही थी।कुछ साल पहले बिना तलाक दिए ही एक महिला और संजय ने चोरी छुपे दूसरी शादी कर ली। उसे करीब 2 साल पहले पता चला। तब उसने कोर्ट में खर्च के लिए केस डाला था। उसके पास शादी के निमंत्रण भी अब तक सुरक्षित हैं।हंसारी निवासी ज्योति ने बताया कि 2002 में उसकी शादी बबीना में हुुई थी। पहली शादी से दो बच्चे हैं। उसने पहले पति से तलाक लेकर 2016 में संजय से शादी की थी। इसके सारे दस्तावेज मौजूद हैं। वह झांसी में बच्चों के साथ रह रही थी। रोजाना वह पति से मिलने जाती थी। रविवार को भी संजय के सिर में दर्द हो रहा था, वह पति के पास गई थी। ज्योति के अनुसार संजय की पहली पत्नी अपनी बड़ी बेटी करिश्मा को पति के पास छोड़ गई थी। कुछ साल पहले ही उसकी शादी की थी।मीरा ने बताया कि संजय के पिता जगन्नाथ सरकारी नौकरी में थे। संजय की पहली शादी से करीब 7 दिन पहले पिता की एक्सीडेंट में मौत हो गई थी। संजय अपने पिता का इकलौता बेटा था। पिता की नौकरी संजय को मिली थी।बताया जा रहा है कि संजय सरकारी कर्मचारी था। इसलिए उसकी नौकरी किसी परिजन को मिलेगी। पहली पत्नी चाहती है कि नौकरी बेटे अरुण को मिल जाए। जबकि दूसरी पत्नी ज्योति चाहती है कि नौकरी उसे मिलनी चाहिए। संजय का सरकारी फंड भी है। जो दोनों पत्नी चाहती हैं कि उनको मिल जाए

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