भारत बंद , 18 राजनीतिक पार्टियों ने भी अपना समर्थन दिया
नई दिल्ली। किसानों ने कानून के खिलाफ आज यानी मंगलवार (8 दिसंबर) को एक दिन के लिए 'भारत बंद' का ऐलान किया है। पूरे देश में आज सुबह 11 बजे से लेकर शाम 3 बजे तक 'भारत बंद' बुलाया गया है। हालांकि, इसका असर अभी से ही देश के अलग-अलग हिस्सों में दिखने लगा है। ओडिशा और महाराष्ट्र में ट्रेनें रोकी गईं हैं। किसानों के इस भारत बंद को कांग्रेस, आम आदमी पार्टी, सपा समेत देश की 18 राजनीतिक पार्टियों ने भी अपना समर्थन दिया है
भारत बंद के दौरान परिवहन सेवा से लेकर फल-सब्जी की आपूर्ति प्रभावित हो सकती है। केंद्र सरकार और किसानों के प्रतिनिधियों के बीच पांच दौर की वार्ता हो चुकी है, मगर अब तक कोई हल नहीं निकल सका है। किसानों ने चेतावनी दी है कि अगर उनकी मांगें नहीं मांगी गईं, तो वे अपना विरोध प्रदर्शन तेज करेंगे और राष्ट्रीय राजधानी पहुंचने वाले मार्गों को बंद कर देंगे। सरकार और प्रदर्शन कर रहे किसान संगठनों के बीच अब तक की वार्ता विफल रही है और इसकी छठे दौर की वार्ता बुधवार (9 दिसंबर) को होनी है।
भारत बंद के दौरान बिहार में राजद कार्यकर्ताओं ने टायर जलाया। दरभंगा के गंज चौक पर कार्यकर्ताओं ने टायर फूंक कर अपना कृषि कानूनों का विरोध जताया कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों को अन्ना हजारे का साथ मिल गया है। किसानों के समर्थन में सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजार आज एक दिन का उपवास रखेंगे। उन्होंने कहा कि किसानों का दिल्ली में चल रहा आंदोलन पूरे देश में फैलना चाहिए। किसानों के दिल्ली की सीमाओं पर आंदोलन की भी अन्ना हजारे ने सराहनी की है। कांग्रेस, एनसीपी, वामदल, शिवसेना, सपा, अकाली दल, राजद समेत 18 से ज्यादा विपक्षी दलों ने भारत बंद को समर्थन दिया है। उनके अलावा 10 केंद्रीय ट्र्रेड यूनियन ने नैतिक समर्थन दिया है। साथ ही, रेलकर्मियों के संगठन बैंक यूनियन, व्यापारियों की कई संस्थाएं दिल्ली-एनसीआर में मंडी समितियां, वकीलों के कुछ संगठन, खाप पंचायतों ने समर्थन दिया है। केंद्र सरकार ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से कहा है कि मंगलवार को किसान संगठनों और उनके समर्थन में विपक्षी दलों द्वारा आहूत 'भारत बंद' के दौरान सुरक्षा कड़ी की जाए और साथ ही शांति सुनिश्चित की जाए। यह जानकारी अधिकारियों ने दी। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने जारी देशव्यापी परामर्श में कहा कि राज्य सरकारों तथा केंद्र शासित प्रदेश के प्रशासकों को सुनिश्चित करना चाहिए कि कोविड-19 दिशानिर्देशों का पालन किया जाए और सामाजिक दूरी बनाए रखी जाए। गृह मंत्रालय के एक अधिकारी ने सोमवार को कहा कि राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों को बताया गया है कि 'भारत बंद के दौरान शांति और धैर्य बनाए रखा जाए और एहतियाती कदम उठाए जाएं ताकि देश में कहीं भी अप्रिय घटना नहीं हो।
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