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केंद्र सरकार ने अन्नदाताओं के लिए खोला खजाना, 3.70 लाख करोड़ की योजनाओं को मंजूरी


नई दिल्ली केंद्र सरकार ने बुधवार को किसानों के लिए तीन लाख 70 हजार करोड़ रुपये से अधिक की कई नई लाभकारी योजनाओं की घोषणा की है। केंद्रीय मंत्रिमंडल की आर्थिक मामलों की समिति की बैठक में इन योजनाओं को आज मंजूरी दी गई।केंद्रीय मंत्री मनसुख मंडाविया ने यह जानकारी दी
।उन्होंने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कहा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज किसानों के लिए 3.70 लाख करोड़ रुपए के कुल परिव्यय को मंजूरी दी। पैकेज में विभिन्न घटक हैं जो टिकाऊ कृषि को बढ़ावा देकर किसानों की भलाई और आर्थिक बेहतरी पर केंद्रित हैं।इसके साथ ही सरकार ने 2023-24 के चीनी सीजन के लिए गन्ने का उचित और लाभकारी मूल्य 10 रुपये प्रति क्विंटल बढ़ाकर 315 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया है।केंद्रीय मंत्रिमंडल ने राष्ट्रीय अनुसंधान फाउंडेशन  विधेयक 2023 को संसद में पेश करने को मंजूरी भी दे दी। इससे राष्ट्रीय अनुसंधान फाउंडेशन  की स्थापना का मार्ग प्रशस्त होगा।मंत्रिमंडल ने वैकल्पिक उर्वरकों को बढ़ावा देने और रासायनिक उर्वरकों के प्रयोग को कम करने के मकसद से राज्यों को प्रोत्साहित करने के लिए नई योजना ‘पीएम-प्रणाम’ को भी मंजूरी दी। साथ ही 3.68 लाख करोड़ रुपये के परिव्यय के साथ मौजूदा यूरिया सब्सिडी योजना को मार्च 2025 तक जारी रखने का भी फैसला किया।केंद्रीय मंत्री ने कहा कैबिनेट ने करों और नीम कोटिंग शुल्क को छोड़कर ₹ 242/45 किलोग्राम बैग की समान कीमत पर किसानों को यूरिया की निरंतर उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए यूरिया सब्सिडी योजना को मंजूरी दे दी है। उपरोक्त अनुमोदित पैकेज में से 3,68,676.7 करोड़ रुपए तीन वर्षों (2022-23 से 2024-25) के लिए यूरिया सब्सिडी के लिए हैं।दूसरी ओर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने यूरिया सब्सिडी योजना को तीन साल के लिए बढ़ाने और 2023-24 के चीनी सीजन के लिए गन्ने का उचित और लाभकारी मूल्य 10 रुपए प्रति क्विंटल बढ़ाकर 315 रुपए प्रति क्विंटल कर देने के केंद्रीय मंत्रिमंडल के फैसले की सराहना करते हुए बुधवार को कहा कि इनसे देशभर के किसानों को फायदा पहुंचेगा।प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने एक ट्वीट में कहा देशभर के किसान भाई-बहनों की समृद्धि और खुशहाली के लिए हमारी सरकार निरंतर प्रयासरत है। इसी दिशा में हमने यूरिया सब्सिडी योजना को तीन साल के लिए और बढ़ाया है। इसके साथ ही पीएम-प्रणाम सहित अन्नदाताओं के कल्याण से जुड़े कई अन्य कार्यक्रमों की शुरुआत भी की गई है।

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